आलोक बैनर्जी, नईदुनिया जबलपुर। प्रकृति से दूर होते जा रहे नागरिकों को उसके करीब लाने के लिए महत्वपूर्ण पहल की जा रही है। देशभर में अब ऐसे पौधे रोपने का अभियान छेड़ा जा रहा है, जिससे वातावरण भी शुद्ध रहे, हवा में ठंडक घुले और पक्षियों को भोजन-पानी के साथ घरौंदे बना सकें। एक नेचर लवर एनजीओ का दावा है कि अकेले पलाश के पेड़ में इतने गुण विद्यमान हैं कि वो पक्षियों की 94 प्रजातियों को अपनी ओर आकर्षित करता है।
पक्षी इसमें घोंसले बनाना और आराम करना ज्यादा पसंद करते हैं। इसके अलावा सेमल, कुसुम, पीपल, बरगद, उंबर, सागौन, मौलश्री व कदम के पेड़ वातावरण के लिए जितने महत्वपूर्ण होते हैं उतने ही पक्षियों को भी खूब पसंद आते हैं। धरती पर बढ़ते तापमान को नियंत्रित करने की क्षमता भी पेड़ों में विद्यमान है, हरियाली लोगों को राहत देने का भी कार्य करती है।
देश के ग्रामीण और शहरी क्षेत्रों में फलदार, औषधियी और पक्षियों को ध्यान में रखकर ऐसे पौधे रोपे जाएंगे जो पक्षियों के मित्र भी हों और हरियाली से लबरेज रहे।
मां नर्मदा नदी के तट पर बसे मध्य प्रदेश के शहर हरियाली से आच्छादित हैं। नर्मदा नदी के उद्गगम स्थल अमरकंटक में शाल के वृक्ष से निकली मां नर्मदा जिन-जिन शहरों से गुजर रही हैं, वह अपने मीठे पानी के साथ हरियाली भी खूब प्रदान कर रही हैं। यही कारण है कि 30 प्रतिशत से अधिक हरियाली आसपास बनी हुई है, अब यह प्रतिशत बढ़ रहा है।
नर्मदा तटीय मिट्टी में इतने गुण हैं कि खेती के लिए वरदान साबित हो रही है। एनजीओ का ताजा सर्वे बताता है कि देश में हरियाली की दृष्टि से मप्र की रेटिंग अब भी ऊंची बनी हुई है। मप्र में जंगलों का दोहन अन्य प्रदेशों की अपेक्षा बेहद कम है। इसलिए अब भी दूर तक जंगल इको सिस्टम को अच्छा बनाए हुए है।
नेचर लवर के रूप में ख्यात प्रदीप त्रिपाठी ने प्रकृति को इंसान से जोड़ने, पक्षियों को भोजन-घरौंदे प्रदान करने के उद्देश्य से ग्रीन यात्रा नाम से एक एनजीओ की शुरुआत 2008 में की थी। समय के साथ कारवां बढ़ता गया, लोग जुड़ते गए और वर्तमान में उनकी टीम में 100 सदस्य हैं, जो पेड़-पौधे और पक्षियों के अच्छे जानकार माने जाते हैं। वे मूलत: सतना के हैं।
ग्रीन यात्रा का मुंबई से संचालन होता है और प्रदूषण से मुक्ति और शहरों को कंक्रीट के जंगल की जगह हरियाली से आच्छादित बनाने प्रयासरत हैं। ये हर साल लगभग 10 लाख पौधे देशभर में रोप रहे हैं। एनजीओ वर्तमान में प्रतिवर्ष देश के विभिन्न हिस्सों में 10 लाख से अधिक पौधे लगाने का लक्ष्य लेकर कार्य कर रहा है। प्रदूषित शहरों को प्रदूषण से मुक्ति दिलाने के साथ ही साथ 2030 तक 10 करोड़ पेड़ देश के अलग-अलग हिस्सों में लगाने का लक्ष्य रखा है।
2024-07-02T04:59:21Z dg43tfdfdgfd