PATNA NEWS सुरक्षा घेरे के बीच 160 किमी की रफ्तार से दौड़ेगी ट्रेन

पटना ब्‍यूरो। मिशन रफ्तार के तहत देश में ट्रेनों की गति बढ़ाने के लिए काम चल रहा है. प्रमुख रेलमार्गों पर ट्रेनों की रफ्तार 130 से बढ़ाकर 160 किलोमीटर प्रति घंटा तक करने का लक्ष्य है. इसी सिलसिले में पूर्व मध्य रेल द्वारा प्रस्तावित 160 किलोमीटर प्रति घंटा की गति वाले रेलवे ट्रैक के दोनों किनारे सुरक्षा बाड़ लगाए जा रहे हैं. इसके तहत बिहार, झारखंड और उत्तर प्रदेश राज्य में पूर्व मध्य रेल क्षेत्राधिकार के लगभग 412 किलोमीटर लंबे ग्रैंड कॉर्ड रेलवे ट्रैक को कवर किया जा रहा है. इनमें प्रधानखंटा से धनबाद, नेसुबो गोमो, कोडरमा, गया, सोननगर होते हुए पंडित दीन दयाल उपाध्याय जंक्शन तक 412 किलोमीटर रेलखंड में से 231 किलोमीटर रेलवे ट्रैक की फेंसिंग का कार्य पूरा हो चुका है. अधिकारियों ने बताया कि ट्रैक किनारे सुरक्षा बाड़ लगने के बाद ट्रेन के लेट-लतीफी कम होगा. इसका फायदा यात्रियों को मिलेगा. पढि़ए रिपोर्ट...

अगस्त तक काम होगा पूरा

पंडित दीनदयाल उपाध्याय मंडल में 200 किलोमीटर में से 110 किलोमीटर रेलवे ट्रैक फेंसिंग का कार्य प्री-फैब्रिकेटेड सीमेंटेड स्लैब लगाकर पूरी की जा चुकी है. शेष 90 किलोमीटर का कार्य क्रैस बैरियर लगाकर शीघ्र ही पूरा कर लिया जाएगा. इसी तरह धनबाद मंडल में आने वाले 175 किलोमीटर ग्रैंड कॉर्ड रेलखंड में सें 25 किलोमीटर लंबे घाट सेक्शन छोड़कर शेष 150 किलोमीटर रेलवे ट्रैक की फेसिंग की जानी है. इनमें से अब तक 121 किलोमीटर का कार्य प्री-फैब्रिकेटेड सीमेंटेड स्लैब लगाकर पूरा हो चुका है. बाकी बचे 29 किलोमीटर का कार्य क्रैस बैरियर लगाकर अगस्त, 2024 तक पूरा करने का लक्ष्य है.

आवागमन होगा सुगम

बहुप्रतीक्षित ट्रैक फेंसिंग के कई फायदे हैं। फेंसिंग कार्य पूरा हो जाने के बाद इन रेलखंडों पर गाडिय़ों का आवागमन और सुगम हो जाएगा. इससे ट्रेनों का समय पालन बनाए रखने में मदद मिलेगी और अतिरिक्त ट्रेनों का परिचालन भी हो सकेगा. इससे एक ओर जहां ट्रेनों का निर्बाध परिचालन होगा. वहीं, लोगों द्वारा रेलवे ट्रैकों का अतिक्रमण अथवा अनाधिकृत रूप से रेलवे ट्रैकों से गुजरने पर होने वाली अप्रिय घटनाओं पर भी रोक लगेगी.

दो पिलरों के मध्य रखा जात है स्लैब

पूर्व मध्य रेल क सीपीआरओ सरस्वती चन्द्र ने बताया कि प्री-फैब्रिकेटेड सीमेंट के ढलाई किया हुआ स्लैब को दो पिलरों के मध्य स्थापित कर दिया जाता है तथा क्रैस बैरियर स्टील के दो पिलों के मध्य एक सीमित ऊंचाई के अंतराल पर दो स्टील प्लेटों को लगाया जाता है.

2024-07-02T13:39:29Z dg43tfdfdgfd