DEHRADUN CRIME: देवभूमि में महिलाओं पर बढ़ रहा जुल्म, देहरादून नंबर एक पर

देहरादून,(ब्यूरो): हमेशा महिला सुरक्षा की बात होती है. लेकिन, लाख कोशिशों के बावजूद महिला उत्पीडऩ के मामलों पर नियंत्रण नहीं पाया जा सका है. अब आप ही देखिए, एक दिन पहले की ही बात है. राजधानी के माजरा मेंं आईआईटी के पास एक महिला रोजाना की तर्ज पर अपने काम पर जा रही थी. अचानक दो स्कूटी सवार लोगों ने राह चलते उसका मोबाइल छीन लिया. ऐसे ही कुछ दिन पहले राजधानी के शिमला बाईपास बडोवाला में एक शख्स ने एक नवजात व दो महिलाओं को मौत के घाट उतारकर कूड़े के ढेर में फेंक दिया. बात जब महिला उत्पीडऩ की हो तो गढ़वाल मंडल के 7 जिलों में देहरादून नंबर एक पर है.

इन मामलों में केस दर्ज

-हत्या

-दहेज हत्या

-दहेज उत्पीडऩ

-अपहरण के लिए फिरौती

-बलात्कार

-एसिड अटैक

-चेन स्नैचिंग

-शीलभंग

-गर्भपात

-अन्य आईपीसी

-महिलाओं से साइबर यौन क्राइम

-मुस्लिम महिला अधिनियम

दून में महिला उत्पीडऩ के मामले

वर्ष 2022--425

वर्ष 2023--429

वर्ष 2024--378

हरिद्वार में महिला उत्पीडऩ के मामले

वर्ष 2022--410

वर्ष 2023--393

वर्ष 2024--425

गढ़वाल के 7 जिलों में मामले

वर्ष 2022--974

वर्ष 2023--954

वर्ष 2024--947

दून में 2022 से मई 2024 तक महिला अपराध

हत्या--13

दहेज हत्या--8

अपहरण के लिए फिरौती--215

बलात्कार--239

एसिड अटैक--0

चेन लूट--16

शीलभंग--200

गर्भपात---0

दहेज उत्पीडऩ--82

दहेज प्रतिषेध अधिनियम--363

अन्य क्राइम--78

साइबर यौन अपराध--2

मुस्लिम महिला एक्ट--18

महिला उत्पीडऩ में दून नंबर एक

राजधानी दून एक ऐसा जिला, जहां से प्रदेश की सरकार चलती है. वहां भी महिला क्राइम पर नियंत्रण नहीं हो पा रहा है. इसके लिए चाहे लोगों की सोच कहें या फिर पुलिस व प्रशासन का अपराधियों के प्रति खौफ न हो. लेकिन, ये सच है कि दून में महिला सुरक्षा के लिए गढ़वाल मंडल में समाज में फिक्र पैदा करता है. आंकड़ों पर गौर किया जाए तो आईजी गढ़वाल मंडल मुख्यालय के आंकड़ों के अनुसार दून में सबसे ज्यादा केस ढाई सालों में 498-ए दहेज प्रतिषेध अधिनियम के तहत दर्ज हैं. मतलब, दहेज के चक्कर में महिलाओं का उत्पीडऩ हो रहा है.

बलात्कार के 239 केस

दून में बलात्कार के मामलों में ढाई सालों में 239 केस दर्ज हुए हैं. आंकड़ों के मुताबिक ये संख्या साल-दर-साल बढ़ रही है. वर्ष 2022 में जहां 74 केस दर्ज हुए, 2023 में 82 और इस वर्ष अब तक 5 महीनों में 83 केस दर्ज हुए हैं. इसी प्रकार व्यपहरण यानि अपहरण के बाद फिरौती मांगने के मामले भी ढाई वर्षों में दून जिले में 214 केस दर्ज हुए. ऐसे ही 13 केस दून में हत्या के थानों में दर्ज हैं और देहज हत्या के दानवों के खिलाफ भी 8 केस दर्ज हुए.

चेन स्नैचिंग कम, डर बरकरार

दून में केवल 16 रिकॉर्ड किए गए हैं. मतलब, महिलाएं सोने की चेन पहनकर सड़क पर बेखौफ नहीं घूम सकती हैं. हां, गर्भपात व एसिड अटैक को लेकर फिलहाल दून की फिजाएं सेफ बताई जा रही हैं.

7 जिलों में कुल महिला अपराध

देहरादून--1232

उत्तरकाशी--63

टिहरी---108

चमोली---76

रुद्रप्रयाग--13

पौड़ी--155

हरिद्वार--1228[email protected]

2024-07-03T13:43:26Z dg43tfdfdgfd