रिहंद जलाशय के पानी की रोजाना होगी निगरानी

बिहार की कड़ी आपत्ति के बाद उत्तर प्रदेश के रिहंद जलाशय के पानी की दैनिक निगरानी का निर्णय लिया गया है। अब जलाशय में उपलब्ध पानी की दैनिक रिपोर्ट बिहार के साथ-साथ केन्द्रीय जल आयोग को भेजी जाएगी। इस रिपोर्ट के आधार पर दिल्ली में भी रिहंद जलाशय पर नजर रखी जाएगी। बुधवार को केन्द्रीय जल आयोग के स्तर पर हुई बैठक में यह तय हुआ कि जलाशय में पानी की उपलब्धता की जानकारी हर रोज बिहार को भी देनी होगी।

दरअसल, बिहार ने रिहंद जलाशय से कोटे के अनुसार पानी नहीं मिलने की शिकायत की थी। इसके बाद केन्द्रीय जल आयोग ने बुधवार को दिल्ली में उच्चस्तरीय बैठक बुलाई थी। इसमें आयोग के साथ-साथ यूपी और बिहार के अधिकारी भी शामिल हुए। बैठक में बिहार ने रिहंद जलाशय से अब तक मिले पानी का पूरा आंकड़ा पेश करते हुए अपनी आपत्ति दर्ज करायी। बिहार ने यह भी कहा कि रिहंद जलाशय प्रबंधकों द्वारा सिर्फ यह कह दिया जाता है कि पानी उपलब्ध नहीं है। जबकि, इसके पानी से बिजलीघर का संचालन होता रहता है।

आयोग ने बिहार की आपत्ति को गंभीरता से लेते हुए इसकी दैनिक जानकारी बिहार और आयोग दोनों को देने का निर्देश दिया। 15 दिनों की जल उपलब्धता रिपोर्ट के बाद बिहार के अधिकारी उसकी समीक्षा करके अपनी अभ्युक्ति के साथ आयोग को उसकी जानकारी देंगे। इसके बाद फिर से यूपी और बिहार के अधिकारी बैठेंगे। यूपी के अधिकारी ने कम बारिश और जलाशय के कैचमेंट एरिया में पानी की कम उपलब्धता की जानकारी भी आयोग को दी।

बैठक में आयोग के अधिकारियों ने बिहार की आपत्ति पर सकारात्मक कार्रवाई का भरोसा दिया और कहा कि शीघ्र ही इसका रास्ता निकाला जाएगा। यही नहीं आयोग द्वारा सिंचाई और बिजली के लिए आवश्यकतानुसार पानी की उपलब्धता सुनिश्चित करने के लिए विस्तृत कार्ययोजना बनाने का भी आश्वासन दिया गया।

परेशानी क्या:

यूपी के रिहंद जलाशय और एमपी के वाणसागर जलाशय से बिहार को खरीफ और रबी फसल की सिंचाई के लिए पानी मिलता है। रिहंद से सालाना 10 लाख एकड़ फीट (5 लाख क्यूसेक) पानी दिया जाना है, जबकि वहां से बिहार को इस साल जून तक 5 लाख एकड़ फीट (2.5 लाख क्यूसेक) से भी कम पानी मिला है। इससे नहरों का बड़ा हिस्सा सूखा रह गया। उसमें जरूरत के अनुसार पानी नहीं आ पाया। इससे किसानों को पटवन के लिए आवश्यकतानुरूप पानी की उपलब्धता नहीं हो सकी।

रिहंद जलाशय को लेकर दिल्ली में सकारात्मक बातचीत हुई। केन्द्रीय जल आयोग के समक्ष बिहार के अधिकारियों ने मजबूती से अपनी बात रखी। बैठक में यह निर्णय लिया गया कि जलाशय में उपलब्ध पानी की दैनिक रिपोर्ट दी जाएगी। इसके आधार पर जलापूर्ति भी सुनिश्चित होगी।

- विजय कुमार चौधरी, जल संसाधन मंत्री

2024-07-04T12:45:35Z dg43tfdfdgfd